Wednesday 28 January 2015

सुशील भोले के चार डांड़ - 1

सच के सुजी ह बस नानेकुन होथे
फेर लबराही फुग्गा ल फुस ले कर देथे
कतकों पोत पाउडर चेहरा उजराये बर
फेर बेरा के ताप ह करिया के छोड़थे

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सच के दुकान म लबरा तराजू
फोकला धरा देथे कहिके जी काजू
आज चारोंखुंट देखौ इही हाल दिखथे
ठोसहा-रतन मनला कर देथें बाजू

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संस्कृति बिन अधूरा हे भाषा-आन्दोलन
जस मड़वा बिन अधूरा होथे मंगरोहन
तब काबर गुनिक मन एला छोड़ देथें
चलौ गा चेत करौ दूनों ल धरके दंदोरन

सुशील भोले 
म.नं. 54-191, डॉ. बघेल गली,
संजय नगर (टिकरापारा) रायपुर (छ.ग.)
मोबा. नं. 080853-05931, 098269-92811
ईमेल - sushilbhole2@gmail.com

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